मेरे बारे में

मेरी फ़ोटो
दिल्ली, India
मेरे बारे में: अगर रख सको तो एक निशानी हूँ मैं, खो दो तो सिर्फ एक कहानी हूँ मैं , रोक पाए न जिसको ये सारी दुनिया, वोह एक बूँद आँख का पानी हूँ मैं..... सबको प्यार देने की आदत है हमें, अपनी अलग पहचान बनाने की आदत है हमे, कितना भी गहरा जख्म दे कोई, उतना ही ज्यादा मुस्कराने की आदत है हमें... इस अजनबी दुनिया में अकेला ख्वाब हूँ मैं, सवालो से खफा छोटा सा जवाब हूँ मैं, जो समझ न सके मुझे, उनके लिए "कौन" जो समझ गए उनके लिए खुली किताब हूँ मैं, आँख से देखोगे तो खुश पाओगे, दिल से पूछोगे तो दर्द का सैलाब हूँ मैं,,,,, "अगर रख सको तो निशानी, खो दो तो सिर्फ एक कहानी

जिद्दी धोनी की राजनीति........

आईसीसी ट्वेंटी-20 वर्ल्ड कप से जिस शर्मनाक अंदाज में भारत बाहर हुआ है उसका अंदेशा किसी भारतीय को नही था । टूर्नामेंट में सबसे कमजोर ग्रुप (मतलब अफगानिस्तान वाली ग्रुप) के दोनो मैच जीत कर धोनी ने भारतीयों के उम्मीद को जिंदा रखा, लेकिन सुपर-8 में आस्ट्रेलिया, वेस्ट इंडीज और श्रीलंका के सामने धोनी की टीम ने घुटने टेक दिये । आईपीएल के तीसरे सीजन में महेंद्र सिंह धोनी के नेतृत्व वाली चेन्नै सुपर किंग्स की जीत ने भारतीय क्रिकेट प्रेमियों को उम्मीद जगाई की बतौर धोनी भारत को एक बार फिर टी-20 र्वल्ड कप का बादशाह बना सकते हैं। लेकिन धोनी के यही आत्मविश्वास ने भारतीय क्रिकेट प्रेमियों के दिलों को चकनाचूर कर दिया । इस टूर्नामेंट में धोनी ने कई ऐसे फैसले किए जिससे आम लोगों के साथ साथ क्रिकेट के विशेषज्ञ भी अचंभित हो गए । खेल में खिलाड़ियों को खेल जीतने की ललक होनी चाहिए लेकिन धोनी के टीम में इस टूर्नामेंट में जितने की ललक तो नहीं दिखी हां धोनी के जिद्द और बीसीआई की राजनीति जरुर देखने को मिली । जिसका नतीजा अब हमसभी के सामने है । धोनी की जिद्द की पहली झलक सुपर-8 के पहले मुकाबले में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ दिखाई दी। ऑस्ट्रेलिया के तेज आक्रमण के सामने उन्होंने बारबाडोस की पिच पर टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया। यह फैसला खुद ऑस्ट्रेलिया के कप्तान माइकल क्लार्क को भी अजीब लगा था । जिसका खामियाजा ऑस्ट्रेलिया से हार कर देना पड़ा । धोनी के यही जिद्द और गलत फैसले ने भारतीय टीम की नौका बीच मझधार मे ही डूबो दी । अब जब हार कि जिम्मेदारी लेने की बात आई तो धोनी ने हार का कारण आईपीएल मैच के दौरान रात में खेलना और देर रात तक की पार्टी शरीक होना बताया । धोनी का आरोप है कि आईपीएल के दौरान ज्यादा मैच खेलने और देर रात की पार्टी में शरीक होने के कारण टीम के सभी खिलाड़ि थक गए जिन्हे आराम करने का मौका नहीं मिला, क्या धोनी जी ये बता सकते हैं कि ललित मोदी ने सभी खिलाड़ियों से कोई बॉंड करवाया था कि मैच खत्म होने के बाद रंगीन पार्टी में शरीक होना आवश्यक है । सिर्फ इतना कहकर धोनी हार के कारण को छुपा नहीं सकते ।
धोनी का जिद्द यही खत्म नहीं हुआ उन्होने वेस्ट इंडीज के खिलाफ भी टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया। इसका भी नतीजा हार के रूप में सामने आया। टी-20 वर्ल्ड कप के में भारतीय बल्लेबाजों को देखकर किसी के भी नज़रों को यह विश्वास नहीं हो पा रहा था कि यही वे खिलाड़ी हैं, जो आईपीएल में चौके-छक्कों की बरसात करते थे। युवराज सिंह, युसुफ पठान, गौतम गंभीर और खुद धोनी ने भी टी-20 वर्ल्ड कप में अपने बल्ले को बांध कर रखा था । आईपीएल में विश्व के नामी गेंदबाजों की धुनाई करने वाले ये भारतीय बल्लेबाज टी-20 वर्ल्ड कप में उन्हीं के सामने पस्त नज़र आ रहे थे और ऐसा लग रहा था कि ये इनके सामने नत्मस्तक हो गए हैं । कुछ ऐसा ही हाल हमारे भारतीय गेंदबाजों का भी था । आशीष नेहरा, जहीर खान, जडेजा एवं हरभजन सिंह विकेट लेने के बजाय रन देने में ज्यादा दिलचस्पी लेते नजर आ रहे थे । अगर टीम चुनने की बात आए तो भारतीय टीम का चयन भी बीसीसीआई और धोनी को सीधे कटघरे में लाकर खड़ा करता है । पूरे आईपीएल सेशन में रॉबिन उथप्पा के प्रदर्शन को धोनी एंड सेलेक्टर ने नजर अंदाज कर दिया जबकि जडेजा पिछले तीन महिनों से क्रिकेट से दूर थे फिर भी उनका चयन कर लिया गया, जो कि भारतीय टीम के लिए काफी नुकसानदेह साबित हुआ । बीसीसीआई और धोनी का यह रवैया ये साफ दर्शाता है कि भारटीय टीम में राजनीति अपने चरम पर है, और भारतीय कप्तान महेन्द्र सिंह धोनी भी इसमे शामिल हो चुके हैं । धोनी को ये सोचना चाहिए कि जब भी किसी आदमी ने अपने काम को छोड़ कर राजनीति में हिस्सा लिया है तो उसके दिन करीब आ गये हैं ( यहाँ पर मेरा मतलब टीम तय करने में धोनी की जिद्द को लेकर है ) धोनी भाग्यशाली हैं जो अब तक इस देश की जनता ने उनको अपने मस्तक पर बैठा कर रखा है वरना बड़े बड़े क्रिकेटर आज टीवी पर कमेंट्री करते नज़र आते हैं । अभी भी मौका है धोनी साहब आप राजनीति को छोड़ क्रिकेट में अपना जौहर दिखाईए....ऐसे ही कोई सचिन, सौरभ और राहुल नहीं बन जाता......

1 टिप्पणी:

  1. बेनामी14/5/10

    आपने बिल्कुल सही कहा है धोनी को अब सिर्फ खेल पर ध्यान देनना चाहए.............अच्छा लिखते हो....

    जवाब देंहटाएं